घर
आज का शब्द-विषय है 'घर'
वर्तमान परिप्रेक्ष्य में घर व मकान इन दो शब्दों की महत्ता अलग अलग है, व्यस्ततम जिंदगी में हम सब मकान, गाड़ी, आमदनी इन सब के पीछे भागते रहते हैं, परन्तु हम हमारे घर-परिवार को कहीं न कहीं भूल जाते हैं, लोग गाँव से शहर,
देश से विदेश जाते हैं परंतु अपने पुराने घर,माता-पिता,को किस हालत में छोड़कर ?
यह एक गंभीर सोचनीय विषय है, आशा है आप सब इस विषय पर अपने विचार प्रस्तुत करेंगे।
©hindii
-
hindii 166w
इस कड़ी में अपनी रचनाएँ भेजने हेतु अपनी रचनाओं के कैप्शन में
#hind , #hind_ghar , #du तीनों का ही अवश्य उपयोग करें।
अंतिम तिथि 26-04-2019 है।
हमारी पिछली कड़ी 'चुनाव' ( #hind_chunav ) पर हमें बहुत सारी रचनायें प्राप्त हुयीं, पर जिन रचनाओं में हैशटैग का उपयोग किया गया सिर्फ वो ही इस कड़ी में प्रतिभागी बनीं, इस बार हमने दो विजेताओं का चुनाव किया है
१. @anita_sudhir जी, व
२. @aman_g_mishra जी
आप दोनों को बधाई, आशा है आप अन्य साथियों को भी हमारे इस छोटे से परिवार से जोड़ने में सहायता करेंगे ।
-- देवेश उपाध्याय व सहयोगी
-- @devesh_upadhyay -
hindii 167w
हमारे पिछले 'चित्र-विषय' #hind_pic3 की विजेता हैं @anitasinghanitya जी, आप सब की भी रचनाएं सकारात्मक संदेश लिये हुईं थीं।
कृपया इस पोस्ट को अपने मित्रों के साथ साझा करें,
अपनी पोस्ट में #hind #hind_chunav #du आवश्यक रूप से प्रयोग करें, 21-04-2019 तक ही प्रविष्टी मान्य ।
--- @devesh_upadhyayचुनाव
नमस्कार
वर्तमान में भारत एक परिवर्तन से गुजर रहा है, वो परिवर्तन है- 'चुनाव'।
आप सब इस विषय पर अपने विचार व्यक्त करें, इस पोस्ट को राजनीति से न जोड़कर, 'समाज में चुनाव की क्या महत्ता है' इस विषय पर सोचने की एवम लिखने की कोशिश करें।
©hindii -
hindii 167w
नमस्कार, सुप्रभात
आशा है आप सब सकुशल होंगे, हम पिछले बहुत समय से यहाँ से नदारद रहे, क्षमा भी नहीं माँग सकते आप सब से, पर इस बार हम एक नये उत्साह के साथ आपके लिये लौट आये हैं।
हमारी पिछली चुनौती #hind_pic2 के विजेता हैं @singh_ankit_hunny भाई जी, इनकी रचना अद्भुत है, हम सब से विनती करते हैं कि इस रचना को पढ़ें।
इनकी रचना व कुछ और रचनाओं को हम जल्दी ही अपने इंस्टाग्राम पेज पर प्रकाशित करेंगे।
इस बार की प्रतियोगिता में भाग लेने के लिये आप सब इस चित्र-विषय पर अपने अंदाज में कुछ लिखें एवं
#hind व #hind_pic3 व #du का उपयोग अवश्य करें।
अंतिम तिथि : 17/04/2019.
-- @devesh_upadhyay#hind_pic3
©hindii -
hindii 180w
हमारी पिछले दिये शब्द "आशा" पर कम ही रचनायें लिखीं गयीं, फिर भी @preeti_bose जी की रचना विजेता बनने की हकदार है ।
इस बार हम आपके समक्ष एक चित्र रख रहे हैं एवं आप सब से अनुरोध कर रहे हैं कि इस चित्र को अपनी रचनाओँ में शामिल करके अपनी मनभावक कृतियाँ हम तक अवश्य पहुँचावे ।
आप हैशटैग #hind_pic2 व #hind प्रयोग अपनी रचनाओं में अवश्य करें ताकि हम आपकी अभिव्यक्ति को सरलता से पढ़ सकें।
--- @devesh_upadhyay
#hind_pic2
#hind
#du.#hind_pic2
-
hindii 183w
आप सब से मैं किस तरह क्षमा मागूँ मुझे समझ नहीं आ रहा,
आप सब इस पेज(परिवार) से जुड़े रहे यह बहुत ही प्रेरणादायक है ।
मैं आगे से आप सब को समय देने का भरपूर प्रयास करूंगा।
मेरे पिताजी को कैंसर(कर्क रोग) ने जकड़ रखा था और अभी उनका आपरेशन हुआ है, आशा है कुछ दिन बाद वो जल्दी ठीक हो जायेंगे ।
पिछली चुनौतियों के विजेता का चुनाव नहीं कर पाने के लिये क्षमा प्रार्थी हूँ ।
आप सब इसी तरह अपना स्नेह बनाये रखें ।
-- देवेश उपाध्याय
#hind
#du_aasha
#duआशा
#du_aasha
आज का शब्द है -"आशा"
आप सब कृपया करके इस शब्द पर अधिक से अधिक लिखने का प्रयास करें व अपने मित्रगणों को भी बतायें की हम पुनः आये हैं एक नये जोश के साथ ।
#hind व #du_aasha का उपयोग अपनी रचना में अवश्य करें ।
©hindii -
hindii 192w
इस पहल में हमने कुछ नियम रखे हैं, जिनका पालन करने पर ही आप की रचना इस पहल का अंश बन पायेगी ।
१. प्रतिभागी को इस पोस्ट को रीपोस्ट अवश्य करें ।
२. प्रतिभागी कमेन्ट बॉक्स में कम से कम तीन साथियों को टैग करें ।
३. आप मात्र दो बार ही अपनी रचना इस पहल में भेज सकते हैं ।
४. रचना का शीर्षक दिये गये शीर्षक को ही बनायें ।
५. रचना में #hind_pic2 का उपयोग अवश्य ही करें ।
आज हम अपने परिवार के मध्य एक ऐसा चित्र रखना चाहते हैं, जो हम सब को हृदय की गहराइयों से सोचने को मजबूर कर दे,हम आप सब को बता दें कि यह @hindii परिवार आप सभी हिंदी लेखकों से ही परिपूर्ण होता है, और हम इस परिवार का उपयोग समाज की पुरानी विचारधारा में परिवर्तन लाने के लिये करना चाहते हैं ।
साथ ही हमारी पिछली पहल " दानवता " को एक सफल कोशिश बनाने के लिये हम आपको सह्रदय नमन करते हैं ।
विजेताओं का चुनाव अत्यंत कठिन था और हम आप में से किसी को भी निराश करने की मंशा नहीं रखते हैं, फिर भी दो विजेता हैं-
१. @rangkarmi_anuj जी
२. @sramverma जी
आप से विनती है कि इनकी रचनायें अवश्य पढ़ें और हमारी आगामी पहलों में अवश्य ही भाग लेवें ।
---- @devesh_upadhyay
#hind #hind_pic2 #du .#hind_pic2
.
©hindii -
hindii 194w
इस पहल में हमने कुछ नियम रखे हैं, जिनका पालन करने पर ही आप की रचना इस पहल का अंश बन पायेगी ।
१. प्रतिभागी को इस पोस्ट को रीपोस्ट अवश्य करें ।
२. प्रतिभागी कमेन्ट बॉक्स में कम से कम तीन साथियों को टैग करें ।
३. आप मात्र दो बार ही अपनी रचना इस पहल में भेज सकते हैं ।
४. रचना का शीर्षक दिये गये शीर्षक को ही बनायें ।
५. रचना में #hind_S9 का उपयोग अवश्य ही करें ।
साथ ही हमारी पिछली पहल "माहवारी" को एक सफल कोशिश बनाने के लिये हम आपको सह्रदय नमन करते हैं ।
विजेताओं का चुनाव अत्यंत कठिन था और हम आप में से किसी को भी निराश करने की मंशा नहीं रखते हैं, फिर भी दो विजेता हैं-
१. @annie_merikalamse_
२. @_anju70 जी
आप से विनती है कि इनकी रचनायें अवश्य पढ़ें और हमारी आगामी पहलों में अवश्य ही भाग लेवें ।
आप हमसे इंस्टाग्राम पर भी जुड़ सकते हैं @hindiiofficial को खोजें अथवा बायो में दी गयी लिंक पर क्लिक करें ।
शब्द चयन व प्रेषक :- @devesh_upadhyay .
#hind_S9
#hind
#duदानवता
#hind_S9
समाज में भिन्न भिन्न प्रकार का दानवीय व्यवहार देखने को मिलता है, जैसे कि
१. एक अमीर का गरीब के प्रति
२. मर्द का औरत के प्रति अथवा औरत का मर्द के प्रति
३. इंसानों का जानवरों के प्रति
इत्यादि..
आप सब भी इस शब्द पर अपनी अपनी रचनायें लिखें और अपनी सोच के सहारे समाज सुधार का हिस्सा बनिये ।
©hindii -
hindii 194w
शायद किसी ने हमारे इस छोटे से हिंदी परिवार को नजर लगा दी थी
पर हम फिर से दमदार वापसी के साथ आपके समक्ष प्रस्तुत हैं ।
इस बार आप सब का प्यार और सहयोग और ज्यादा चाहिये ।
लिखते रहिये, आप सब के लिये बहुत कुछ नया करने की सोची है।
धन्यवाद, आभार ।
-- @devesh_upadhyay
#du #hindकुछ तकनीकि कारणों से
यह पेज पिछले कुछ समय से बंद रहा
इसलिये मैं आप सब से क्षमा चाहता हूँ ।
©hindii -
hindii 197w
हम मानते हैं कि आप में से कुछ परिवार जन इस विषय पर लिखने से कतराएंगे और अपने विचारों को खुल कर नहीं रख पायेंगे, पर हमारी आप सब से हाथ जोड़कर विनती है कि कृपया इस विषय की गंभीरता को अवश्य देखें।
हमारे देश में आज भी ग्रामीण परिवेश में महिलायें मासिक धर्म के समय एक सादा कपड़ा या मिट्टी या अन्य देशी साधनों का उपयोग करतीं हैं और इस वजह से संक्रमण और मृत्यु तक का खतरा बना रहता है, वो इस विषय में कभी खुल के बोल तक नहीं पातीं ।
कृपया लिखें और अपने साथियों से भी अवश्य लिखने को कहें ।
इस पहल में हमने कुछ नियम रखे हैं, जिनका पालन करने पर ही आप की रचना इस पहल का अंश बन पायेगी ।
१. प्रतिभागी को इस पोस्ट को रीपोस्ट अवश्य करें ।
२. प्रतिभागी कमेन्ट बॉक्स में कम से कम तीन साथियों को टैग करें ।
३. आप मात्र दो बार ही अपनी रचना इस पहल में भेज सकते हैं ।
४. रचना का शीर्षक दिये गये शीर्षक को ही बनायें ।
५. रचना में #hind_S8 का उपयोग अवश्य ही करें ।
साथ ही हमारी पिछली पहल "भूख" को एक सफल कोशिश बनाने के लिये हम आपको सह्रदय नमन करते हैं ।
विजेताओं का चुनाव अत्यंत कठिन था और हम आप में से किसी को भी निराश करने की मंशा नहीं रखते हैं, फिर भी दो विजेता हैं-
१.@ankita_kulshrestha जी
२.@priyaankamishra जी
आप से विनती है कि इनकी रचनायें अवश्य पढ़ें और हमारी आगामी पहलों में अवश्य ही भाग लेवें ।
आप हमसे इंस्टाग्राम पर भी जुड़ सकते हैं @hindiiofficial को खोजें अथवा बायो में दी गयी लिंक पर क्लिक करें ।
शब्द चयन व प्रेषक :- @devesh_upadhyay .
#hind_S8
#hind
#duमाहवारी
#hind_S8
आज का शब्द/विषय है :-: "माहवारी/मासिक धर्म" .
भारत वर्ष में इस विषय पर अभी भी महिलायें किसी से भी खुल के बात नहीं कर सकतीं, क्यूँ ?
पुरुष समाज इस विषय पर अपनी सोच को क्या वास्तव में विकसित कर चुके हैं ?
यह विषय महिलाओं के स्वास्थ्य और सरोकार से जोड़कर क्यूँ नहीं देखा जाता ?
इस विषय पर आप सभी के लेखन का हमको बहुत इंतज़ार रहेगा। कृपया अनुशीर्षक अवशय पढ़ें ।
©hindii -
hindii 198w
नमस्कार,
आशा है आप सब खुशहाली के पथ पर निरंतर आगे बढ़ रहे होंगे, और अपनी कलम से मन के भावों को अंकित कर रहे होंगे ।
कल "हिंदी दिवस" था , आपमें से कुछ लोगों को यह आशा रही होगी कि शायद हम आप सब से इस उपलक्ष्य में कुछ लिखने को कहें, तो हम आप सबको बता देना चाहते हैं कि हिंदी लेखन सिर्फ एक ही दिन की बात नहीं है, हमारी कोशिश यह है कि हम हिंदी के माध्यम से समाज जाग्रति में स्वयं और आप सब को एक परिवार मानते हुये, अपनी जिम्मेदारी का निर्वाहन करें ।
आप सब की रचनात्मक एवं भावुक रचनाओं को पढ़ने के लिये हम सदैव ही आतुत रहते हैं, परंतु लगातार कोशिशों के बाद भी हम अपनी पहलों में आपकी भागीदारी बढ़ाने में असमर्थ रहे हैं, अतः हम आप सब से विनती करते हैं कि आप इस परिवार को आगे सुचारू रूप से बढ़ते रहने के लिये अपने बहुमूल्य सुझाव अवश्य देंवे ।
हमारी पिछली पहल "हुस्न/रूप" पर हमको बहुत कम रचनायें प्राप्त हुईं, फिर भी हमने इस शब्द के सही मायनों में अर्थ बताती रचनाओं को चुना है, ये रचनायें हैं --
१. @sramverma जी की, व
२. @bhavnarverma जी की ।
आप दोनों की ही रचनायें उत्कृष्ट थीं, और आपने दो या दो से अधिक रचनायें प्रस्तुत कीं, इसके लिये हम आपके आभारी हैं ।
शब्द चुनाव व प्रस्तुत-कर्ता - @devesh_upadhyay
#hind_S7
#hind
#du .भूख
#hind_S7
आज का शब्द है "भूख" ।
*आप सब से विनती है कि सिर्फ दिये गये हैशटैग को ही उपयोग करें और हमको टैग अवश्य करें ।
*आप किसी भी साहित्यिक विधा में अपनी रचना प्रस्तुत कर सकते हैं।
*कृपया रचना के अनुशीर्षक में यह अवश्य लिखें कि,
"यह रचना @hindii द्वारा दिये गये शब्द 'भूख' को शीर्षक मानकर लिखी गयी है",
जिससे कि आपके अन्य साथी भी हमारी इस पहल से जुड़ सकें।
©hindii
-
ashk_ankush 165w
Agar aapne Kota Factory nahi dekha hai ab tak, toh zaroor dekhiyega! Streaming on TVF- YouTube!
#hind #hindi #hindii #hindiwriters #hindilekhan @hindii @hindiwriters @hindilekhanKota Factory
ना जाने घर से कितने सपने लेकर निकलते हैं,
कभी ख़ुद के, तो कभी माँ-बाप के!
ना जाने कितनी चीज़ों से मुँह मोड़ लेते हैं,
कभी ख़ुद से, कभी इस डर से,
कि अगर सफ़ल नहीं हुए तो क्या होगा?
कहाँ पढ़ना होगा, कोई पूछे तो कहना क्या होगा?
माँ को क्या जवाब देंगे, पापा के सपने कैसे पूरे करेंगे?
सफ़ल नहीं हुए तो सर उठाकर अपनों में कैसे रहेंगे?
ना जाने कितनी ऐसी कहानियाँ इस शहर में बसती हैं,
जहाँ पढ़ाई से ज़्यादा लोगों की ज़िंदगी सस्ती है!
Kota Factory ऐसी ही एक कहानी है,
जो आज के इस युग में, सबको दिखानी है!
©ashk_ankush -
पेशानी पे कहते है लिखी है तक़दीर
जो बना दे पल भर में अमीर से फ़क़ीर
मुझ को मालूम नहीं क्या होती है तक़दीर
शौक़ है मुझको बस उसका जिसे कहते है तदबीर
तदबीर से बिगड़ी हुई बात भी बन जाए
यक़ीनन फिर से बन सकते है फ़क़ीर से अमीर
©agypsysoul -
divine_love_words 165w
Kafi waqt se "amarlat" par kuch likhna chah rhi thi @anita_sudhir Mam Apki haiku padh kar kuch tukbandi aa gyi dimag me
#writersnetwork #hindiwriters #hindilekhan #hind #shabdanchal #hashj #shej #mrigtrishnaअमलतास और अमरलत्त का भेद भुला बैठे
प्यासे थे, समंदर के पानी से प्यास बुझा बैठे
-@शालिनी
©intoxicating_zinx_words -
silence_seeker 165w
Bada mehenati hai ye dil...,
Dimaag ka kaam bhi yahi karta hai....
@hindiwriters @divya2001 @batmizz_gurl
#hindबड़ा मेहनती है ये दिल...,
दिमाग का काम भी यही करता है...|
©silence_seeker -
two_lines_enough 166w
@writersnetwork1 @hindiwriters @readwriteunite @mirakeeworld @devesh_upadhyay @thepoetrycommmunity
@hindikavyasangam
#DU #Writersnetwork #hindiwriters #readwriteunite #thepoetrycommmunity
#du #mirakeeworld #Words #wordsporn #hindiquotes #hindipoems #hindi #poetry #poetrylove #emotions #shayri #she'rAs Never Before
अदा ही लिखता हूं उसके फ़रेब को,,
कौन पढ़ेगा अब मुझ शायर ग़रीब को.....
बैठा ले इक दफ़ा तू अपने करीब तो,,
बदनाम होने तो दे जरा मुझ शरीफ़ को.....
आ हो लें इक दूजे़ से आज वाकिफ़ तो,,
कि हो जाए यकीं खुदा में मुझ काफि़र को.....
खिचा मैं जा रहा हूं तेरी जानिब को,,
सलाम-ए-रतनम है इस तेरी तरकीब को.....
©two_lines_enough -
drinderjeet 166w
#जद्दोजहद_Life
मुश्किलों से लड़ना सीख लिया है मैंनें
वक्त के साथ चलना सीख लिया है मैनें
ऐ-ज़िन्दगी,
चाहे तू पूरी ताकत लगा ले मुझे गिराने में
बहती हवा के साथ उड़ना सीख लिया है मैनें
smbhatia
हवा को चीरने की खुद में तुमको भरनी है कुव्वत
यहाँ हर लम्हा है मुश्किल, लम्हों को जीतना होगा
ऐ- ज़िन्दगी,
वक्त की रफ़्तार को आसाँ नहीं है भांपना
वक्त से इक कदम आगे तुम्हें, चलना होगा
drinderjeet
#mirakee #writersnetwork #hindiwriters #hindiurduwriters #drinderjeet #panchdoot #hindilekhan #hks @mirakee @hindilekhan @hindikavyasangam #hindii #hind @smbhatiaजद्दोजहद_Life
मुश्किलों से लड़ना सीख लिया है मैंनें
वक्त के साथ चलना सीख लिया है मैनें
ऐ-ज़िन्दगी,
चाहे तू पूरी ताकत लगा ले मुझे गिराने में
बहती हवा के साथ उड़ना सीख लिया है मैनें
smbhatia
हवा को चीरने की खुद में तुमको भरनी है कुव्वत
यहाँ हर लम्हा है मुश्किल, लम्हों को जीतना होगा
ऐ- ज़िन्दगी,
वक्त की रफ़्तार को आसाँ नहीं है भांपना
वक्त से इक कदम आगे तुम्हें, चलना होगा
drinderjeet -
avyakta 166w
#everyday #deep #mirakee #hindiwriters #writersnetwork #readwriteunite #pod #lovequotes #mirakeeworld #quotes #writer #life #sad #urduwriter #shayar #feelings #follow #love #praise #lifestyle #quote #pen #emotions #english #poet #lyrics #destiny #avyakta
#writersofinstagram #stories #ttt #quoteoftheday #writersofig #writersofmirakee #wordporn #writing #writer #hindi #urdu #hindमैं कहानियां लिखता जरूर हुं,पर उनकी तस्वीरें सच्ची होती है।
©avyakta -
anita_sudhir 166w
मेला
पिरामिड
**
1)
है
मन
अकेला,
अलबेला
जग का मेला,
भावे न ये रैला
तूने क्यों खेल खेला
2)
दो
दिन
का मेला
है चुनाव
डूबती नाव
नेता काँव काँव
घूमते गाँव गाँव ।
©anita_sudhir -
ss2908 166w
बचपन (2)
कब का पीछे छूट चुका खुशनुमा बचपन...
लेकिन, अब भी मेरे बेटे में मेरी तस्वीर हूबहू नज़र आ रही है,
उसकी कॉपी, किताबों में जैसे फिर से ज़िन्दगी बीते लम्हों में दौड़ लगा रही है।
...✍ Sujata Swaroop
©ss2908 -
atulmehpa 166w
#hind #hind_ghar #du #hks #hindilekhan #hindiwriters #shabdanchal #Hindi
#anitya #satender #ankahe_alfaz #ggk #ltnm #sona7 #ravina #apt #tspr #4ank #nrk #100rb
@anita_sudhir @drinderjeet @archana_tiwari_tanuja @satyarya_ @_mann_j @riyabansal @deepajoshidhawan @sh_gopal @bal_ram_pandey @vaniiiiघर/मकान
घर होते थे पहले जब सब साथ रहते थे
अब होते हैं मकान, मानो अपने ही अपनो से अनजान
घर कैसे होते है, मकान कैसे होते हैं
घर में सब मिलजुलकर रहते थे हम
अब मकान में बच्चे भी अकेले सोते हैं
बारिश होती थी, पतनाले बहते थे
नहालों बच्चों बारिश में, बड़े कहते थे
बना कर नाव कागज की बहाते थे आंगन में
अडी भीड़ में सब इकठ्ठे रहते थे
अब मकान में रहते हैं हम
ना बारिश का पता चलता है और ना वो नाव रही
ना धूप रही पहले जैसी ना ही चांदनी
और ना पहले जैसी पेड़ों की छांव रही
जब घर में रहते थे तो कभी मां, कभी चाची,
कभी ताई रोटी बना देती थी
अब तो मकान में आए दिन खाना बनाने को
झगड़ा रहता है
कोई फरमाइश बाहर खाने की करता है
कोई दाल रोटी को नहीं कहता है
पर घर और मकान तो मात्र नाम हैं
साथ में तो फिर भी हमें ही रहना है
गर इकठ्ठे रहे तो घर कहेंगे, नहीं तो मकान कहना है
सब मिलकर रहेंगे तो मकान को भी घर कहेंगे
ऐसे ही चलता रहा तो एक दिन गांव को भी
लोग शहर कहेंगे
आओ फिर से मिलजुलकर रहें हम
और जिसे मकान कहना सीख गए हैं
उसे फिर से घर कहें हम
"रिश्तों में रिश्तों की अहमियत रहने दो
और मकान में थोड़ी सी घर की कीमत रहने दो"
