રાહ..
આશા વગરની રાહ જોઈ છે કોઈ દી'?!
હું જોઉં છું.
©unknown_
unknown_9
just alone.
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unknown_9 1d
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unknown_9 4d
Hum dono hi jiddi hai, tum mere hone nahi chahte aur hum kisi aur ke...
©unknown_ -
unknown_9 1w
Dar
Hume dar hai ki tumhari tarah hum tumhe bhul na jaye...
©unknown_ -
સપનાં સાચાં ક્યાંથી પડત! જ્યારે વ્યક્તિ જ ખોટી હતી!
©unknown_ -
unknown_9 1w
કઈ-કઈથી નીકાળું તને!? બધ્ધે જ તું છે...
©unknown_ -
Kai haadse sunaye maine apni maut tak ke, par us haadse main jaan gai jab sab kuchh sunne ke baad wo bola ki 'hum tumhe nahi jante'
©unknown_ -
unknown_9 1w
હું કાચ હતી ને તું પત્થર, એક થવું ક્યાંય શક્ય ન'હતું.
©unknown_ -
unknown_9 1w
જે વ્યક્તિએ તમારાં માટે બધું જ છોડ્યું, બધાંને છોડ્યાં; શું એ વ્યક્તિને છોડતાં તમને શેજ પણ શરમ ન આવી??
©unknown_ -
unknown_9 2w
मेरी बदकिस्मत, की प्यार करने के बावजूद भी तुम मेरे ना हुए...
©unknown_ -
unknown_9 2w
Chhod jane wale kabhi wopas nahi lautte, maine dekha hai intzar karke.
©unknown_
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ekta__ 12w
मेरा ये डर था के क्या होगा वो अग़र चला गया
फ़िर उसने जा के दिखाया और मेरा डर चला गया
©ekta__ -
soonam 5w
जिंदगी एक भ्रम है
ये लोग..उन लोगों का प्यार
अपनों का प्यार
भले कहें कि..ये बातें.. वो और उनका वो प्यार
कितना ही सच्चा हो..
पर ये भ्रम भी तब टूटा
जब उन्होंने ने हमारे सपनों के ऊपर
अपना सपना जोड़ दिया
क्यों..क्या..कैसे..कुछ नहीं
बस अपने प्यार के डोर से
हमारे सपनों के भ्रम को मड़ोड़ दिया..!!
ये गहरी काली रात
उस रात के बाद ये उम्मीद
कि.. आने वाला दिन अच्छा होगा
एक बुरे दिन के बाद
एक नए सवेरे का.. वो एहसास
इस साल के बाद आने वाले
साल तक का इंतजार..
ये भी तो एक भ्रम है
क्यों कि आने वाला
वो दिन.. वो सवेरा.. वो साल
देखा किसने है.. जनाब
कहीं उस रात के बाद सवेरा लिखा ही ना हो..!!
ये नदियां.. ये पेड़..
ये धरती.. ये आकाश..
ये गांव.. ये शहरे..
ये दिन.. ये रात..
सभी एक दूसरे के पूरक हैं
ये भी तो एक भ्रम है
कब किस दिन
ये मुंह फेर ले.. एक दूसरे से
कहां किसे है पता..!!
ये मासूम सा दिल
ये तेज तर्रार दिमाग
जानते सब है..
पर बात वही.. "एक भ्रम"
के आगे उन्होंने ने भी
घुटने टेक दिए.. जनाब..!!
©soonam
#rachanaprati165 "भ्रम" @anonymous_143
@writersnetwork @writerstolli @hindiwriters @hindinamaभ्रम
ये समय का खेल.. अपनों का मेल..
ये झुकते कंधे.. अकड़़ते मन
ये पछतावा.. वो शर्मिंदगी
वो कसमकस.. ये बंदगी
सब समय है.. ऐसा बोलते हैं लोग
क्यों कि.. उससे पहले छेड़ दिया तो
वो समय नहीं.. ये "भ्रम" है..
बिखर जाते हैं लोग..!!
©soonam -
payushi 54w
Teri yaadein or mai
aksar apas me baatein krte hai
ki kya kasoor tha mera
jo tumse juda ho gye...
©payu -
soonam 6w
तेरे आने की खबर.. तेरे आने की खबर..
जैसे पांवों में पाजेब पहन कर आता है
जिसकी धुन पर मेरा पूरा बदन झूम उठता है
मानो जैसे सूखे बंजर ज़मी पर
झमझमाती बारिश की बूंदें
वहां.. मोतियों की भांति बिखरी पड़ी हो..!!
तेरे आने की खबर..
मंथन में मिला वो अमृत कलश हो
जिसकी एक बूंद से मेरी रुह तृप्त हो जाए..
तेरे आने की खबर.. मानो जैसे..
मेरे दिल के हर पन्नों को बिखेर देता है
जहां सिर्फ तुझसे मिलने का जिक्र हो
तेरे आने की खबर.. मुझे
भीड़ में भी तनहा कर देता है
दुबारा से उन यादों में जीने के लिए..!!
तेरे आने की खबर..
अनंत मनोहर है.. मेरे लिए
मानो जैसे इन काली रातों पर
उस चांद ने अपनी चांदनी बिखरे दी हो
पतझड़ के मौसम में फूलों की बारिश हो रही हो..!!
तेरे आने की खबर..
मानो जैसे इबादत है मेरा
जहां अपनी पलकें बिछाए
बस तेरी ही राह देख रहा हो..!!
©soonam
@writersnetwork @writerstolli @hindiwriters @hindinamaतेरे आने की खबर..
कड़कड़ाती धूप में पेड़ों की छांव सी
बहती नदियों में गंगा की मिलान सी
मानो जैसे..
एक प्यासे को सरोवर का किनारा मिल गया
एक राही को उसका ठहराव मिल गया
हां.. तेरे आने की खबर..
मानो जैसे..
अराधक को उसका आराध्य मिल गया..!!❤️
©soonam -
geetarajpoot 7w
शिकायत करूं मैं और मिले मुझे सजा भी
ना खैरियत पूछते हो और ना दवा भी
©geetarajpoot -
जाते वक्त, कुछ ऐसा कह कर गए
आज भी चुब रही हैं
"तुम्हें तुम्हारी मोहब्ब्त का क़र्ज़ लौटा दूंगा"
इल्म नहीं थी मुझे कभी
कर्ज़ भी होता है आशिक़ी में
©leena_afsha_ishrot -
leena_afsha_ishrot 8w
1:01 a.m. 28-3-22
#leena_unsaidwords #hindinama
तादाद - amount
शारिक-ए-हया - wife
फरियाद - complaint
Welcome to highlight my mistakesतादाद कम नहीं है चाहने वालों की
पर इस वक्त की कदर किससे है अफशा
जिन्हें शिद्दत से चाहा,
जो हूर है मेरी जिंदगी की
उन्होंने भी क्या खूब खेला मेरे दिल से
जाने भी दो अभी इन बातों को अफशा
हरा हूँ मैं खुद ही से,
इश्क भी करू तो मुझे सालिका समझा
किस तरह किया जाता है
खुद से नफ़रत है की- क्यूँ उन्ही के
शारिक-ए-हया बनने की ज़िद्द की
बेशक हुनर तो काई है उनमे,
पर एक हुनर जो मुझे बेहद पसंद आयी-
दिल देके दिल लेने की हुनर
ख़ैर अब जो साथ रहने से इन्कार किया
उनसे कैसी फरियाद रहेगी? X2
©leena_afsha_ishrot -
itz_naaz 48w
अक्सर हम कमजोर पड़ जाते हैं,
इसीलिए तो लोग बेखौफ़ छोड़ जाते हैं।।
©itz_naaz -
itz_naaz 8w
मोहब्बत के बदले ,
मांगा ही नहीं हमने कभी कुछ,
मोहब्बत भी नहीं।।
©itz_naaz -
anjalib 12w
आखिर कब तक?
हर सुबह होती हैं
एक नई सास जैसी ही आती है
एक नये हो्सले को जन्म देती है
आज से सब अच्छा होगा.
दिन ढलते ढलते परिस्थितियों का तुफान बढ़ जाये जाता
खुद को समझना, उम्मीदों को बाढाना
रोना, चुप होना, फिर झूठा मुसकाना
फिर कई सावालो का जन्म होना
फिर टूटना फिर रोना आखिर कब तक, कब अच्छा होगा.
फिर उदासीनता भरी रात, बिसतर में आसुओं को समेटते हुए.
और फिर एक ओर दिन का अंत होना..
©anjalib
